जाति धर्म का भेद मिटाने घर घर पहुंची मातृशक्ति अखण्ड दीप जन्म शताब्दी यात्राएं
गायत्री साधक जुटे पूरे प्राण प्रण से रथ यात्राओं में
देवास । अखिल विश्व गायत्री परिवार शांतिकुंज हरिद्वार के तत्वावधान में पूरे मध्यप्रदेश की माटी पर मातृ शक्ति अखण्ड दीप जन्म शताब्दी यात्राओं से जन सुधार एवं श्रद्धा संवर्धन आंदोलन बड़े उत्साह और उमंग से चलाये जा रहे है इसी क्रम में देवास शाखा द्वारा भी देवास तहसील की ग्राम पंचायतों में धूमधाम से ढ़ोल एवं मंजिरो के साथ मातृशक्ति अखण्ड दीप जन्म शताब्दी यात्राएं निकाली जा रही हैं । गायत्री शक्तिपीठ के मीडिया प्रभारी विक्रमसिंह चौधरी ने बताया कि गायत्री शक्तिपीठ की टीम निरंतर देवास की ग्राम पंचायतो में जन श्रद्धा संवर्धन एवं व्यक्ति निर्माण पर चर्चा कर रही है । युवा समन्वयक प्रमोद निहाले ने यात्राओं की जानकारी देते हुए बताया कि सर्वप्रथम ग्राम भ्रमण किया जाता है एवं घर घर शक्ति कलश व अखण्ड दीप का स्वागत पूजन अर्चन कर आरती की जाती है पश्चात गायत्री परिजनों द्वारा मंदिर के ओटले या पंचायत में बैठकर मातृ शक्ति अखण्ड दीप जन्म शताब्दी यात्राओं पर चर्चा की जाती हैं और गायत्री परिवार की रचनात्मक गतिविधियों से सबको परीचित कराकर वहां एक प्रज्ञा मण्डल का गठन किया जाता है जिनसे समय समय पर गायत्री परिवार की रचनात्मक गतिविधियों की जानकारी ली जाएंगी । यात्राओं में आत्म सुधार, व्यक्ति निर्माण, परिवार निर्माण और समाज निर्माण जैसे विषयों पर सम्बोधन दिया जाता है । कार्यक्रम में दुर्व्यसन छोड़ने वाले लोगो का मंगल तिलक लगाकर एवं पुष्प माला पहनाकर सम्मान किया जाता है । गायत्री परिवार के वरिष्ठ परिजन रमेशचन्द्र मोदी एवं अमरसिंह चौधरी ने यात्राओं में कहा कि गायत्री परिवार की संस्थापक परम पूज्य गुरुदेव पं.श्रीराम शर्मा आचार्यजी की धर्मपत्नी परम वंदनीया माता भगवती देवी शर्मा के जन्मदिवस के एवं शान्तिकुंज में स्थापित अखण्ड दीप के वर्ष 2026 में 100 वर्ष पूर्ण होने जा रहे है इसी तारतम्य में अखिल विश्व गायत्री परिवार शान्तिकुंज हरिद्वार द्वारा वर्ष 2026 को जन्म शताब्दी वर्ष घोषित किया है इस क्रम में मध्यप्रदेश की ग्राम पंचायतो में रथ यात्राओं का क्रम बना है जिसमें गायत्री परिवार के सह प्रबंध ट्रस्टी कन्हैयालाल मोहरी, रमेश नागर, कांतिलाल पटेल, सालिगराम सकलेचा, कैलाशसिंह ठाकुर, शिवदादा, गोपाल श्रीवास्तव, जगदीश चौहान, सोमेश्वर सोलंकी, बी. एल. खंडेलवाल सहित अन्य परिजनों का विशेष सहयोग मिल रहा है ।
गायत्री साधक जुटे पूरे प्राण प्रण से रथ यात्राओं में
देवास । अखिल विश्व गायत्री परिवार शांतिकुंज हरिद्वार के तत्वावधान में पूरे मध्यप्रदेश की माटी पर मातृ शक्ति अखण्ड दीप जन्म शताब्दी यात्राओं से जन सुधार एवं श्रद्धा संवर्धन आंदोलन बड़े उत्साह और उमंग से चलाये जा रहे है इसी क्रम में देवास शाखा द्वारा भी देवास तहसील की ग्राम पंचायतों में धूमधाम से ढ़ोल एवं मंजिरो के साथ मातृशक्ति अखण्ड दीप जन्म शताब्दी यात्राएं निकाली जा रही हैं । गायत्री शक्तिपीठ के मीडिया प्रभारी विक्रमसिंह चौधरी ने बताया कि गायत्री शक्तिपीठ की टीम निरंतर देवास की ग्राम पंचायतो में जन श्रद्धा संवर्धन एवं व्यक्ति निर्माण पर चर्चा कर रही है । युवा समन्वयक प्रमोद निहाले ने यात्राओं की जानकारी देते हुए बताया कि सर्वप्रथम ग्राम भ्रमण किया जाता है एवं घर घर शक्ति कलश व अखण्ड दीप का स्वागत पूजन अर्चन कर आरती की जाती है पश्चात गायत्री परिजनों द्वारा मंदिर के ओटले या पंचायत में बैठकर मातृ शक्ति अखण्ड दीप जन्म शताब्दी यात्राओं पर चर्चा की जाती हैं और गायत्री परिवार की रचनात्मक गतिविधियों से सबको परीचित कराकर वहां एक प्रज्ञा मण्डल का गठन किया जाता है जिनसे समय समय पर गायत्री परिवार की रचनात्मक गतिविधियों की जानकारी ली जाएंगी । यात्राओं में आत्म सुधार, व्यक्ति निर्माण, परिवार निर्माण और समाज निर्माण जैसे विषयों पर सम्बोधन दिया जाता है । कार्यक्रम में दुर्व्यसन छोड़ने वाले लोगो का मंगल तिलक लगाकर एवं पुष्प माला पहनाकर सम्मान किया जाता है । गायत्री परिवार के वरिष्ठ परिजन रमेशचन्द्र मोदी एवं अमरसिंह चौधरी ने यात्राओं में कहा कि गायत्री परिवार की संस्थापक परम पूज्य गुरुदेव पं.श्रीराम शर्मा आचार्यजी की धर्मपत्नी परम वंदनीया माता भगवती देवी शर्मा के जन्मदिवस के एवं शान्तिकुंज में स्थापित अखण्ड दीप के वर्ष 2026 में 100 वर्ष पूर्ण होने जा रहे है इसी तारतम्य में अखिल विश्व गायत्री परिवार शान्तिकुंज हरिद्वार द्वारा वर्ष 2026 को जन्म शताब्दी वर्ष घोषित किया है इस क्रम में मध्यप्रदेश की ग्राम पंचायतो में रथ यात्राओं का क्रम बना है जिसमें गायत्री परिवार के सह प्रबंध ट्रस्टी कन्हैयालाल मोहरी, रमेश नागर, कांतिलाल पटेल, सालिगराम सकलेचा, कैलाशसिंह ठाकुर, शिवदादा, गोपाल श्रीवास्तव, जगदीश चौहान, सोमेश्वर सोलंकी, बी. एल. खंडेलवाल सहित अन्य परिजनों का विशेष सहयोग मिल रहा है ।
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